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30 January ko konsa divas hai

30 जनवरी भारतीय इतिहास में एक अत्यंत संवेदनशील, भावनात्मक और प्रेरणादायक दिन के रूप में दर्ज है। यह दिन देश के महानतम राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की पुण्यतिथि के रूप में मनाया जाता है। इसे भारत में 'शहीद दिवस' (Martyrs' Day) भी कहा जाता है। इस दिन महात्मा गांधी सहित उन सभी वीरों को श्रद्धांजलि दी जाती है जिन्होंने देश की आज़ादी और उसकी रक्षा के लिए अपने प्राणों का बलिदान दिया।
1. शहीद दिवस – Mahatma Gandhi Punyatithi (Martyrs’ Day)

महात्मा गांधी का जीवन परिचय:

महात्मा गांधी का जन्म 2 अक्टूबर 1869 को पोरबंदर, गुजरात में हुआ था। उनका पूरा नाम मोहनदास 100pकरमचंद गांधी था। वे एक साधारण परिवार से आए थे, लेकिन अपने विचारों और अहिंसात्मक संघर्ष के बल पर उन्होंने पूरे भारत को एकजुट कर स्वतंत्रता की ओर अग्रसर किया।

गांधीजी को “बापू” और “राष्ट्रपिता” के रूप में सम्मानित किया गया। उनका प्रमुख अस्त्र सत्य और अहिंसा था। उन्होंने भारत में ब्रिटिश राज के खिलाफ सत्याग्रह, असहयोग आंदोलन, नमक सत्याग्रह, भारत छोड़ो आंदोलन आदि का नेतृत्व किया।


2. महात्मा गांधी की हत्या (30 जनवरी 1948):

30 जनवरी 1948 को नई दिल्ली स्थित बिड़ला भवन में प्रार्थना सभा के लिए जाते समय महात्मा गांधी की गोली मारकर हत्या कर दी गई। नाथूराम गोडसे नामक एक कट्टरपंथी व्यक्ति ने तीन गोलियां दागीं, जिससे बापू वहीं गिर पड़े। उनके अंतिम शब्द थे – "हे राम!"

यह दिन भारतीय इतिहास का एक काला अध्याय बन गया। पूरे देश में शोक की लहर दौड़ गई और दुनियाभर में इस त्रासदी पर संवेदना व्यक्त की गई।


3. शहीद दिवस का उद्देश्य और महत्व:

शहीद दिवस केवल गांधीजी को ही नहीं, बल्कि उन सभी वीरों को श्रद्धांजलि देने का दिन है जिन्होंने देश के लिए अपने प्राणों की आहुति दी। इसका उद्देश्य है:

युवाओं में देशभक्ति की भावना जागृत करना।

स्वतंत्रता सेनानियों के योगदान को स्मरण करना।

अहिंसा, सत्य और शांति के मूल्यों को आगे बढ़ाना।


4. शहीद दिवस पर कार्यक्रम:

भारत सरकार और राज्य सरकारें इस दिन विभिन्न स्थानों पर विशेष कार्यक्रम आयोजित करती हैं। सबसे प्रमुख आयोजन राजघाट (दिल्ली) में होता है, जहां महात्मा गांधी की समाधि स्थित है।

प्रमुख गतिविधियाँ:

दो मिनट का मौन – पूरे देश में सुबह 11 बजे दो मिनट का मौन रखकर शहीदों को श्रद्धांजलि दी जाती है।

राजकीय सम्मान – राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, रक्षा मंत्री और अन्य गणमान्य नेता राजघाट पर पुष्पांजलि अर्पित करते हैं।

स्कूलों/कॉलेजों में निबंध, भाषण, चित्रकला प्रतियोगिताएं होती हैं।

प्रार्थना सभा – "रघुपति राघव राजा राम" और अन्य गांधी जी प्रिय भजन गाए जाते हैं।


5. गांधीजी की विचारधारा और शिक्षाएं:

सत्य और अहिंसा:

गांधीजी का मानना था कि किसी भी समस्या का समाधान हिंसा से नहीं, बल्कि अहिंसा और संवाद से हो सकता है। उन्होंने कहा था – "अहिंसा परमो धर्मः" – अहिंसा सबसे बड़ा धर्म है।

स्वदेशी:

उन्होंने भारतीयों को विदेशी वस्तुओं का बहिष्कार कर स्वदेशी अपनाने को कहा।

आत्मनिर्भरता:

चरखा गांधीजी का प्रतीक बन गया, जिससे उन्होंने आत्मनिर्भर भारत की कल्पना की।

सर्वधर्म समभाव:

गांधीजी सभी धर्मों का आदर करते थे और धार्मिक सहिष्णुता के पक्षधर थे।



6. 30 जनवरी – विश्व स्तर पर दृष्टिकोण:

महात्मा गांधी केवल भारत में ही नहीं, बल्कि विश्वभर में शांति, मानवता और अहिंसा के प्रतीक माने जाते हैं। संयुक्त राष्ट्र, अमेरिका, दक्षिण अफ्रीका, ब्रिटेन जैसे कई देशों में भी इस दिन या गांधीजी की पुण्यतिथि पर विशेष श्रद्धांजलि अर्पित की जाती है।


7. अन्य ऐतिहासिक घटनाएं – 30 जनवरी को घटी प्रमुख घटनाएं:

1649 – इंग्लैंड के राजा चार्ल्स प्रथम को सार्वजनिक रूप से मृत्युदंड दिया गया।

1948 – महात्मा गांधी की हत्या।

1969 – भारत के प्रसिद्ध संगीतकार रवि शंकर को ग्रैमी पुरस्कार मिला।


8. 30 जनवरी को जन्मे या दिवंगत प्रसिद्ध व्यक्ति:

1968 – राजा रवि वर्मा के पोते और भारतीय चित्रकला के संरक्षक जयवंत राव का जन्म।

1948 – महात्मा गांधी की पुण्यतिथि।


9. आधुनिक समय में प्रासंगिकता:

आज जब समाज में हिंसा, असहिष्णुता और असहमति बढ़ रही है, गांधीजी की शिक्षाएं पहले से कहीं अधिक प्रासंगिक हो गई हैं। सत्य, प्रेम, सहनशीलता और आत्म-निर्भरता जैसे मूल्यों को अपनाकर ही समाज में स्थायी शांति और समरसता लाई जा सकती है।


निष्कर्ष:


30 जनवरी केवल एक पुण्यतिथि नहीं है, यह दिन बलिदान, सत्य, अहिंसा और राष्ट्रीय कर्तव्य की याद दिलाता है। महात्मा गांधी और अन्य शहीदों के योगदान को स्मरण कर हम उनके सपनों के भारत को साकार करने की दिशा में कार्य कर सकते हैं।

हमें इस दिन संकल्प लेना चाहिए कि हम देश के प्रति अपने कर्तव्यों का निष्ठा से पालन करेंगे और अपने जीवन में गांधीजी के मूल्यों को अपनाएंगे।

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